देहरादून। सीबीआई ने हाईकोर्ट के आदेश पर जिम कार्बेट टाइगर रिजर्व की पाखरो रेंज में निर्माण घोटाले के मामले में मुकदमा दर्ज कर लिया है। सीबीआई ने शुक्रवार को हरिद्वार में पूर्व डीएफओ किशनचंद के घर और देहरादून में पूर्व रेंजर बृज बिहारी शर्मा के घर छापे भी मारे। मौके से बहुत से दस्तावेज कब्जे में लिए गए हैं।
कॉर्बेट पार्क के कालागढ़ डिवीजन की पाखरो रेंज में 106 हेक्टेयर वन क्षेत्र में टाइगर सफारी बननी थी। वर्ष 2019 में इसका निर्माण कार्य बिना वित्तीय स्वीकृति शुरू कर दिया गया। इसके लिए अवैध कटान निर्माण किए गए। पेड़ काटने एवं अवैध निर्माण की शिकायत मिलने के बाद राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण की टीम ने स्थलीय निरीक्षण किया था, जिसमें गड़बड़ी सामने आई। एनटीसीए ने यह काम रुकवा दिया। बिना वित्तीय स्वीकृति के निर्माण कार्य की जानकारी मिलते ही कॉर्बेट पार्क के तत्कालीन निदेशक राहुल ने रोक लगाने के निर्देश दिए थे। साथ ही रेंजर बृज बिहारी शर्मा की लापरवाही पर उनको निलंबित करने के निर्देश दिए थे। लेकिन इस पर भी कोई कार्रवाई नहीं हुई।
सरकार ने इस प्रकरण की जांच हल्द्वानी सेक्टर की विजिलेंस को सौंपी थी। अगस्त 2022 में किशन चंद एवं रेंजर बृज बिहारी शर्मा पर प्राथमिकी हुई। जांच के बाद विजिलेंस ने पिछले साल ही पहले बृजबिहारी शर्मा को गिरफ्तार किया। फिर 24 दिसंबर 2022 को पूर्व डीएफओ किशनचंद को भी गिरफ्तार कर लिया। अब दोनों जमानत पर हैं। विजिलेंस आरोपियों के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धाराओं में चार्जशीट भी दाखिल कर चुकी थी। विजिलेंस ने 30 अगस्त को पूर्व वन मंत्री हरक सिंह रावत के परिवार से संबंधित देहरादून स्थित एक शिक्षण संस्थान और रायवाला के एक पेट्रोल पंप पर भी छापा मारा था। यहां से सरकारी जनरेटर बरामद किए गए थे।